गौठानों की बदहाली से बढ़ी आवारा मवेशियों की समस्या
लाखों खर्च, फिर भी जर्जर शेड और गिरती बाउंड्रीवॉल

कवर्धा -: जिले सहित ग्रामीण अंचलों में शासन द्वारा गौठान निर्माण पर लाखों रुपये खर्च किए गए, लेकिन रखरखाव के अभाव में अधिकांश गौठान बदहाली का शिकार हो चुके हैं। कई जगह शेड टूट चुके हैं, बाउंड्रीवॉल गिर रही है और तारों की चोरी हो गई है, जिससे मवेशी बाहर निकलकर सड़कों पर घूम रहे हैं।
गौठानों में मवेशियों के न रहने से आवारा पशुओं की संख्या लगातार बढ़ रही है। सड़कों पर बैठे मवेशियों के कारण आए दिन सड़क दुर्घटनाएं हो रही हैं, जिनमें कई गायों की मौत हो चुकी है। जिम्मेदारी तय न होने से आमजन में भारी आक्रोश है।
शासन की गोबर से खाद निर्माण और गौठानों को गौधाम में बदलने की योजनाएं कागजों तक सीमित नजर आ रही हैं। अधिकांश स्थानों पर गोबर खाद निर्माण पूरी तरह ठप है, जिससे सरकारी धन की बर्बादी हो रही है।
स्थानीय लोगों का कहना है कि प्रशासन केवल बैठकों और घोषणाओं तक सीमित है। यदि शीघ्र ही गौठानों की मरम्मत, सुरक्षा और नियमित देखरेख नहीं की गई, तो यह योजना पूरी तरह विफल हो जाएगी।




