
कवर्धा 20 नवंबर 2025। उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा के सतत प्रयासों से कवर्धा विधानसभा क्षेत्र के विभिन्न ग्रामों में विकास कार्यों को गति मिल रही है। इसी क्रम में ग्राम सारंगपुरखुर्द में 41.65 लाख रुपए की लागत से 500 मीटर लंबाई की सीसी सड़क निर्माण के कार्य का बुधवार को विधिवत भूमिपूजन किया गया। मुख्यमंत्री गौरव पथ योजना के अंतर्गत कई सड़कों के निर्माण के लिए स्वीकृति प्रदान की गई है। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित जिला पंचायत अध्यक्ष ईश्वरी साहू, जिला पंचायत उपाध्यक्ष कैलाश चन्द्रवंशी, अध्यक्ष जनपद पंचायत कवर्धा सुषमा गनपत बघेल, उपाध्यक्ष गणेश तिवारी, जिला पंचायत सभापति सुमित्रा विजय पटेल, जनप्रतिनिधि बीरसिंह पटेल, रोहितनाथ योगी, दिलीप गोलु साहू, सदस्य जनपद पंचायत कवर्धा मिथला मिथलेश बंजारे, बीरनु राम पटेल, ग्राम पंचायत जमुनिया के सरपंच रोहित ठाकुर, एमनी बाई धुर्वे सहित बड़ी संख्या में ग्रामीणजन उपस्थित थे।
जिला पंचायत अध्यक्ष ईश्वरी साहू ने कहा कि मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व और उपमुख्यमंत्री श्री विजय शर्मा के निरंतर प्रयासों से जिले में तेजी से विकास कार्य हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि सरकार की प्राथमिकता ग्रामीण बुनियादी ढांचे को मजबूत बनाना है, जिससे गांवों में आवागमन सुविधाजनक और सुरक्षित हो सके। उन्होंने बताया कि सरकार के इस प्रयास से ग्रामीण विकास की दिशा में सशक्त कदम बढ़ाए जा रहे हैं।
जिला पंचायत उपाध्यक्ष कैलाश चन्द्रवंशी ने कहा कि सड़क के निर्माण होने से ग्रामवासियों को लाभ होगा। उन्होंने कहा कि सड़क बन जाने से शिक्षा, स्वास्थ्य और कृषि कार्यों में भी आसानी होगी तथा ग्रामीणों की जीवनशैली में सकारात्मक बदलाव आएगा। ग्रामवासियों ने इस महत्वपूर्ण स्वीकृति और कार्यारंभ के लिए उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा कि सड़क तैयार हो जाने से बरसात के मौसम में कीचड़, धूल और फिसलन की समस्या खत्म होगी। बच्चों के स्कूल जाने, किसानों के कृषि सामग्री परिवहन और दैनिक आवागमन में बड़ी सुविधा मिलेगी।
उल्लेखनीय है कि छत्तीसगढ़ शासन पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग द्वारा संचालित मुख्यमंत्री ग्राम गौरव पथ योजना के तहत ग्रामों की कच्ची, धूल-कीचड़ युक्त सड़कों को पक्की सीमेंट कांक्रीट सड़क (सीसी रोड) सह नाली के रूप में विकसित किया जाता है। इस योजना का उद्देश्य गांवों की गलियों को स्वच्छ, सुरक्षित और सुगम बनाना है, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी ढांचा सुदृढ़ हो और आम नागरिकों को धूल, मिट्टी एवं कीचड़ की समस्या से स्थायी राहत मिल सके।




