कवर्धा, 20 मई 2024। कलेक्टर जनमेजय महोबे ने आज जिला कार्यालय परिसर में लगाएं गए निःशुल्क स्वास्थ्य शिविर में बीपी एवं डायबिटीज की जांच कराई। कलेक्टर सहित जिले के सभी अधिकारी, जिला कार्यालय के कर्मचारियों ने भी स्वास्थ्य परीक्षण कराया। कलेक्टर महोबे ने कहा कि हमारा जीवन अमूल्य है। हमे अपने जीवन शैली को बेहतर बनाने के लिए नियमित योग एवं प्राणायाम करना चाहिए। स्वास्थ्य के प्रति सतर्क रहते हुए जागरूक होकर सभी को नियमित स्वास्थ्य परीक्षण कराना चाहिए। इस अवसर पर कार्यालीन कार्य से आए आम नागरिकों ने भी अपना स्वास्थ्य परीक्षण कराया। इसके साथ ही पुलिस अधीक्षक कार्यालय, जनपद कार्यालय कवर्धा एवं जिले में संचालित समस्त सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों व आयुष्मान आरोग्य मंदिर में उच्च रक्तचाप एवं मधुमेह जांच शिविर का आयोजन किया गया। शिविर में 4 हजार 828 व्यक्तियों का जांच किया गया। शिविर में जिला चिकित्सालय एवं शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र की टीम का पूर्ण सहयोग रहा।
विश्व उच्चरक्तचाप दिवस के अवसर पर मुख्य चिकित्सा एवम स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. बी.एल.राज के निर्देशानुसार एवं सिविल सर्जन डॉ. केशव ध्रुव, जिला कार्यक्रम प्रबंधक श्रीमती अनुपमा तिवारी के मार्गदर्शन में शासकीय कार्यालयों, जिला एवं जनपद पंचायत, पुलिस अधीक्षक कार्यालय, सभी स्वास्थ्य केन्द्र सहित स्वास्थ्य विभाग द्वारा कलेक्टारेट परिसर में आज शिविर लगाकर अधिकारियों, कर्मचारियों एवं आम नागरिकों का स्वास्थ्य जांच किया गया। शिविर में बीपी एवं शुगर जांच सहित अन्य जांच की गई। स्वास्थ्य विभाग द्वारा मरीजों को निःशुल्क दवाईयों का भी वितरण किया गया। जिला अस्पताल से आए डॉक्टरों ने उच्च रक्तचाप मिलने पर मरीजों को वजन संतुलित रखने, चिकित्सकीय सलाह के अनुसार दवाई लेने, शारीरिक गतिविधियों में वृद्धि, शराब एवं तम्बाकू सेवन नहीं करने, संतुलित आहार, फल व सब्जियों का भरपूर सेवन करने, तनाव से बचने, रक्तचाप की नियमित जांच कराने एवं तेल, घी एवं नमक का सेवन कम करने की सलाह दी गई।
सीएमएचओ डॉ. राज ने बताया कि जिला पंचायत में सीईओ (जिला पंचायत) के साथ-साथ कुल 55 कर्मचारियों ने अपना जांच करवाया, जिसमें से 16 शुगर एवं 9 बीपी के संभावित मरीज मिले। पुलिस अधीक्षक कार्यालय में कुल 41 कर्मचारियों का जांच किया गया, जिसमें 4 शुगर एवं 3 बीपी, जनपद पंचायत कवर्धा में कुल 30 कर्मचारियों का जांच किया गया जिसमें से 2 शुगर एवं 8 बीपी और आज जिला कार्यालय में कुल 111 अधिकारी-कर्मचारियों का बीपी, शुगर जांच किया गया जिसमें से 11 शुगर एवं 10 बीपी के संभावित मरीज मिले।
चिकित्सा अधिकारी, जिला चिकित्सालय डॉ. प्रदीप साहू द्वारा मरीजों को दवाई प्रदाय किया गया। उन्होंने बताया कि दुनिया का लगभग हर तीसरा व्यक्ति इससे प्रभावित है। सामान्य रूप से इसका माप 120/80 होता है जबकि एक बीस वर्ष के व्यक्ति में 140/90 और एक पचास वर्ष की उम्र के व्यक्ति में 160/95 उच्च रक्तचाप माना जाता है। मानसिक तनाव, अधिक नमक का सेवन, वजन की अधिकता,आनुवंशिकता, धूम्रपान, शराब और आलस्यपूर्ण जीवन शैली उच्च रक्तचाप के कारण हो सकते है। इसके कारण हृदय घात,मस्तिस्कघात, गुर्दे की समस्या या आंखो पर असर होता है। साथ ही गर्भवती महिलाओ को इसका विशेष ध्यान रखना पड़ता है। उच्च रक्तचाप को एक साइलेंट किलर भी कहा जाता है। उच्च रक्तचाप होने पर दवाई जीवन भर खानी पड़ी सकती है। अतः बेहतर होगा अपनी जीवन शैली संतुलन रखी जाए। व्यायाम, योग,ध्यान तनाव मुक्त होकर, संतुलित खान-पान से इससे बचा जा सकता है।
युवा भी बन रहे शिकार
उच्च रक्तचाप व मधुमेह की बीमारी बढ़ती उम्र की बीमारी मानी जाती थी, लेकिन पिछले तीन सालों की जांच रिपोर्ट पर नजर डालें तो चौकाने वाले खुलासे सामने आए है। 30 साल से 45 साल के युवाओं को भी इस तरह की समस्या हो रही है। इसके चलते युवाओं को हार्ट अटैक और ब्रेन हेमरेज की भी शिकायत हो रही है। समय पर इलाज नहीं होने पर यह मनुष्य के लिए जानलेवा भी साबित हो रहा है।