आंगनबाड़ियों में करोड़ों के भ्रष्टाचार का खुलासा: घटिया सामग्री की सप्लाई पर मंत्री ने दिए जांच के आदेश

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दुर्ग। महिला एवं बाल विकास विभाग के अंतर्गत संचालित डेढ़ हजार से अधिक आंगनबाड़ी केंद्रों में घटिया गुणवत्ता की सामग्री की सप्लाई का बड़ा मामला सामने आया है। आरोप है कि परियोजना अधिकारियों द्वारा कमीशन के लालच में करोड़ों रुपये की घटिया सामग्री वितरित की गई। मामले के उजागर होने के बाद विभाग में हड़कंप मच गया है।
इस प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए महिला एवं बाल विकास मंत्री लक्ष्मी राजवाड़े ने दुर्ग के कलेक्टर अभिजीत सिंह को तत्काल जांच के आदेश दिए हैं। प्रारंभिक जानकारी के अनुसार दुर्ग ग्रामीण, दुर्ग शहर, भिलाई एक व दो, अहिवारा, धमधा, पाटन और कुम्हारी परियोजना कार्यालयों में बड़े पैमाने पर अनाज कोठी, फर्नीचर, बर्तन, सैनिटरी पैड, वज़न मापने की मशीन जैसी सामग्री की आपूर्ति की गई थी।
कार्यकर्ताओं ने जताई आपत्ति
सामग्री के आंगनबाड़ी केंद्रों में पहुंचते ही सहायिका और कार्यकर्ताओं ने इसकी घटिया गुणवत्ता को लेकर आपत्ति जताई और उच्च अधिकारियों को शिकायत दर्ज कराई। इस पर मंत्री ने सख्त रुख अपनाते हुए जांच का आदेश दिया।
जांच के निर्देश और संभावित कार्रवाई
राज्य स्तर से लेकर जिला स्तर तक इस गड़बड़ी की जांच के लिए टीमें गठित की जा रही हैं। मंत्री राजवाड़े ने साफ शब्दों में कहा है कि जांच रिपोर्ट सामने आने के बाद दोषियों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई की जाएगी। विभागीय सचिव को 7 मई को विशेष जांच दल गठित करने के निर्देश पहले ही दिए जा चुके हैं।
सप्लाई से पहले नहीं हुई गुणवत्ता जांच
सूत्रों के अनुसार सप्लाई किए गए अधिकांश सामानों की गुणवत्ता जांच किए बिना ही उन्हें आंगनबाड़ी केंद्रों तक भेज दिया गया। जैसे ही यह सामान केंद्रों में पहुंचा, उसकी असलियत सामने आ गई। फर्नीचर, बर्तन से लेकर हार्पिक तक सभी सामग्री में गंभीर खामियां पाई गईं। नीचे स्तर से लगातार शिकायतों के बाद अब अधिकारी सक्रिय हो गए हैं।
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